PM Modi के smart City में सड़कों पर फालतू बह रहा पेयजल

प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र बनारस में विकास और जनसुविधाओं पर चर्चा तो बहुत होती है, लेकिन बुनियादी सुविधाओं का क्या हाल है इसे जानने के लिए न जनप्रतिनिधि आगे आते है और न ही प्रशासनिक अफसर। दरअसल ये कहें कि आम आदमी को बुनियादी सुविधाएं मुहैया कराने की जिनकी जिम्मेदारी है उन्होंने ही इस ओर से मुख मोड़ लिया है। कहने को लोग कहेंगे कि जल ही जीवन है, जल के लिए तीसरा विश्व युद्ध तक हो सकता है। पर इस अति विशिष्ट शहर में किसी की पीने को दो बूंद शुद्ध पेयजल उपलब्ध नहीं है। कहीं पानी आ ही नहीं रहा तो कहीं सीवरयुक्त पानी आ रहा है। कहीं पेयजल सड़कों पर बह रहा है।
अब वाराणसी नगर निगम मुख्यालय के पिछले दरवाजे जहां निगम का स्टोर है वहां से दो महीने से पेयजल सड़क पर बह रहा है। लेकिन किसी का ध्यान नहीं गया। मेयर से लेकर 90 पार्षद तक की नजर इस पर नहीं पड़ी। ऐसा नहीं है कि यहां कोई आता-जाता नहीं। लेकिन किसी को कोई परवाह नहीं।
क्षेत्रीय नागरिक रमेश कुमार और संतोष कुमार कहते हैं कि तीन बार रिमाइंडर दे चुके लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही। इस पेयजल की बर्बादी के चलते लोगों के घरों में पानी नहीं आ रहा है। लोग अगल-बगल के कुओं और हैंडपंप से काम चला रहे हैं पर निगम व जलकल को इसकी परवाह नहीं। संतोष की वहीं पान की दुकान है जहां पार्षदगण अक्सर पान-गुटका खाने भी आते हैं उनसे भी कहा गया लेकिन हां-हां के आगे कोई बात बनी नहीं। रमेश कहते हैं कि तीन-तीन रिमाइंडर दे चुके लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही।
चीयर्स डेस्क